tag:blogger.com,1999:blog-6106111973053802651.post3476699704369679643..comments2024-03-19T13:02:02.211+05:30Comments on Dr. Vartika Nanda: Media Educator & Prison Reformer: मुंबई के बाद - जाएं तो जाएं कहांDr Vartika Nandahttp://www.blogger.com/profile/15717526581949287288noreply@blogger.comBlogger8125tag:blogger.com,1999:blog-6106111973053802651.post-17413803837316268872008-12-15T20:04:00.000+05:302008-12-15T20:04:00.000+05:30ये तो रहा मुंबई हमलों का मुहब्बत पर सीधा असर। लेकि...ये तो रहा मुंबई हमलों का मुहब्बत पर सीधा असर। लेकिन मुश्किलें हैं, तो रास्ते भी हैं। प्रेम अपनी राह ज़रूर ढूंढ़ लेगा।सुप्रतिम बनर्जीhttps://www.blogger.com/profile/16272872839681422930noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6106111973053802651.post-17923418962487077822008-12-15T16:34:00.000+05:302008-12-15T16:34:00.000+05:30well....very well said maam... gajendra singh bhat...well....very well said maam...<BR/><BR/> gajendra singh bhatiफिलम सिनेमाhttps://www.blogger.com/profile/08267443875384678236noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6106111973053802651.post-61288546028231133982008-12-14T23:38:00.000+05:302008-12-14T23:38:00.000+05:30वर्तिका जी । आपकी बात बिलकुल सही है। कुछ तो परेशा...वर्तिका जी । आपकी बात बिलकुल सही है। कुछ तो परेशानी होगी ही। ये पैसे वाले लोग हैं।होटल के कमरे की जगह इस काम के लिए कोठी एवं फ्लेट किराए पर लेने लगेंगें। बडें लोगो की समस्या पर मैने एक हांस्य व्यंग हाल मे लिखा है। समय मिले तो देखिएगा। ब्लाग का लिंक नीचे हैं..<BR/> http://likhadi.blogspot.com/2008/12/blog-post_07.htmlbijnior districthttps://www.blogger.com/profile/02245457778160306799noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6106111973053802651.post-19458119704896871112008-12-14T21:39:00.000+05:302008-12-14T21:39:00.000+05:30प्रिय वर्तिका नन्दा जी, आपका लेख बहुत अच्छा लगा। ...प्रिय वर्तिका नन्दा जी, आपका लेख बहुत अच्छा लगा। लेकिन हकिकत कुछ और ही है। शायद आप भी इससे वाकीफ होंगी। आपके लेख में, आपने जो लिखा है युगल जोडों के बारे में, इसके बारे में मैं आपको एक बात बताना चाहता हूँ कि जादातर युगल (80 से 90 तक) पार्क या ऐसी जगहों पर बातें करने के लिए नहीं जाते, बल्कि और किसी काम के लिए जातें हैं (वह काम होता है, एक दूसरे को स्पर्श करना) ज्यादा कुछ मैं कहना नहीं चाहता। मैं भी दिल्ली में पला बढा हूँ और बहूत सी जगहों पर जा चुका हूँ जहॉं युगल जोडीयॉं जाती हैं। इसलिए आप ये मत कहए कि उनको किसी सिपाही का या कोतवाल का डर होता है। जो लोग सिर्फ बाते करने के लिए वहॉं जाते हैं। उनको किसी का डर नहीं होता। मैं खुद ऐसी कई जगहों पर जा चुका हँ वह भी अपनी होने वाली पत्नी के साथ (शादी से पहले)।<BR/><BR/>उदयनउदयन पी.के. तुळजापूरकर<br>एक भारतीय <br>Udayan P.K. Tuljapurkar<br>Indianhttps://www.blogger.com/profile/04799959080257261642noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6106111973053802651.post-81614211718406607222008-12-14T20:16:00.000+05:302008-12-14T20:16:00.000+05:30आतंक का प्रेम पर पड़ने वाला असर बहुत अच्छी तरह से ...आतंक का प्रेम पर पड़ने वाला असर बहुत अच्छी तरह से उकेरा है आपने| शहरों में पनपते प्रेम के आयामों को पढ़कर अच्छा लगा|sshttps://www.blogger.com/profile/10746526495871896780noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6106111973053802651.post-12095954921482726712008-12-14T20:14:00.000+05:302008-12-14T20:14:00.000+05:30सच ही कहा आपने कुछ दिक्कतें तो आऐंगी पर यह हिंदुस्...सच ही कहा आपने कुछ दिक्कतें तो आऐंगी पर यह हिंदुस्तान यहाँ सब कुछ दिनों में नार्मल हो जाता हैं। गाड़ी फिर से उसी पटरी पर दोड़ जाती हैं। खैर प्यार करने वाले ठैरे प्यार करने वाले वो जगह ढूंढ ही लेंगे। वैसे आपने कुछ हमेशा की तरह इस पर भी अलग लिखा।सुशील छौक्कर https://www.blogger.com/profile/15272642681409272670noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6106111973053802651.post-3316395979770884392008-12-14T19:58:00.000+05:302008-12-14T19:58:00.000+05:30प्रेमी तीन तरह के हो सकते हैं पर प्रेम तो एक ही हो...प्रेमी तीन तरह के हो सकते हैं पर प्रेम तो एक ही होता है - सच्चा, सरल, सरस। यदि कपडे बदलने वाले को प्रेमी कहें तो गलत है, वह तो धोबी ही हो सकता है। तभी तो कहा गया है- यह इश्क नहीं आसां ......चंद्रमौलेश्वर प्रसादhttps://www.blogger.com/profile/08384457680652627343noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6106111973053802651.post-68321347723226229222008-12-14T18:18:00.000+05:302008-12-14T18:18:00.000+05:30बडा अहम सवाल उठाया है आपने .बडा अहम सवाल उठाया है आपने .विवेक सिंहhttps://www.blogger.com/profile/06891135463037587961noreply@blogger.com